बलूचिस्तान में मोदी के बयान की जमकर तारीफ, दखल देने की मांग हुई तेज

बलूचिस्तान में मोदी के बयान की जमकर तारीफ, दखल देने की मांग हुई तेज



नई दिल्ली। बलूचिस्तान पर भारत के रुख का बलूचिस्तान रिपब्लिकन पार्टी यानी बीआरपी ने स्वागत किया है। बलूचों के सबसे बड़े नेता बरहुमदाग बुगती ने बलूचिस्तान का मामला अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर उठाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान की तारीफ की है।
बलूच राष्ट्रीय नेता और बीआरपी के प्रमुख नवाब बरहुमदाग बुगती ने अपने ट्वीट में कहा है हम भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान का स्वागत करते हैं। एक जिम्मेदार पड़ोसी और दुनिया के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश के तौर पर भारत को बलूचिस्तान में दखल देना चाहिए।
यूनाइटेड नेशन ह्यूमन राइट काउंसिल में बीआरपी के प्रतिनिधि अब्दुल नवाज बुगती ने भारतीय मीडिया से बात करते हुए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बलूचिस्तान का मुद्दा उठाने के लिए भारत सरकार की तारीफ की। उन्होंने कहा कि भारत को ये मुद्दा बहुत पहले ही उठाना चाहिए था, लेकिन देर आए दुरुस्त आए। उन्होंने कहा कि बलूचिस्तान में फौजी ऑपरेशन, जबरन दखल और हत्याएं पाकिस्तानी सेना का रुटीन काम बन गया है। पीएम मोदी की तारीफ के साथ ही ये लोग #IndiaForBalochistan को ट्रेंड भी करवा रहे हैं। वहीं बलूचों के सबसे बुजुर्ग आंदोलनकारी नेता शाह जमाल बुगती ने भी नवाब बुगती के ट्वीट को लोगों तक पहुंचाया। वहीं बरहुमदाग बुगती ने एक और ट्वीट कर कहा है कि पाकिस्तानी फौजों ने डेरा बुगती में हिंसक सैनिक अभियान चला रखा है। 19 बलूचिस्तानी कल से मारे जा चुके हैं। बलोच नेशनल मूवमेंट की हम्माल हैदर बलोच ने कहा कि ये पहली बार है कि भारत के प्रधानमंत्री बलूचिस्तान के लोगों की आवाज उठा रहे हैं। भारत और हम लोग लोकतंत्रिक, सेक्युलर लोग हैं। आपने वही किया है जो मिसेज गांधी ने 1970-71 में किया था। पाकिस्तान एक नाकाम देश साबित हो चुका है। बलूचिस्तान में शांति के बिना पाकिस्तान और इस एरिया में शांति स्थापित नहीं हो सकती है। पाकिस्तान बहुत सारे आतंकवादियों को पनाह दे रहा है और उनको पनपा रहा है। तो ये समय है कि भारत आगे आये और हमको सपोर्ट करे। वहीं वर्ल्ड बलोच वूमेन फोरम की नायला कादरी ने कहा कि बलूचिस्तान के लोग जो संकट के समय से गुजर रहे हैं और हमें आशा है कि आप (पीएम नरेंद्र मोदी) सितंबर में यूएन सेशन में आप हमारे लोगों के इश्यू को उठाएंगे, हम लोग, बालूचिस्तान, पीओके के लोग आपके साथ हैं और आपके सहयोग के लिए धन्यवाद देते हैं। बता दें कि सर्वदलीय बैठक में कहा था कि पीओके भी भारत का ही हिस्सा है। बैठक में पीओके से निर्वासित लोगों से भी बातचीत हो। विदेशों में बसे पाकिस्तान के क़ब्ज़े वाले कश्मीर के नागरिकों से भारत सरकार को संपर्क स्थापित करना चाहिए। पीएम ने बलूचिस्तान में मानवाधिकारों के उल्लंघन का भी जिक्र किया।

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